Kanpur News: सिम को ई-सिम कार्ड में बदला, उड़ा दिए 1.26 करोड़ रुपये, पीड़ित को खबर तक न लगी

Kanpur News: सिम को ई-सिम कार्ड में बदला, उड़ा दिए 1.26 करोड़ रुपये, पीड़ित को खबर तक न लगी

Kanpur News: उत्तर प्रदेश के कानपुर (Kanpur) में साइबर अपराधियों ने एक कारोबारी से 1.26 करोड़ रुपये चुरा लिए. अपराधियों ने साइबर ठगी का नया तरीका खोज निकाला है. उन्होंने कारोबारी के सिम को पहले ई-सिम में बदला और फिर उनके बैंक अकाउंट से सारे पैसे उड़ा लिए. अपराधियों ने मुंबई के बैंक में पैसे ट्रांसफर किए.

पीड़ित मोकम सिंह ने साइबर थाने में शिकायत दर्ज कराई है. उन्होंने बताया है कि उन्हें किसी कॉल या मैसेज के जरिए ये जानकारी नहीं दी गई कि उनके सिम को ई-सिम में बदला जा रहा है और बैंक खाते से पैसे गायब हो गए.

पुलिस ने भरोसा दिलाया है कि जल्द ही मामले का खुलासा किया जाएगा और आरोपियों को पकड़ लिया जाएगा. डीसीपी क्राइम एस. एम. कासिम आबिदी ने कहा कि सूचना मिलते ही पुलिस ने तुरंत कार्रवाई शुरू की. आरोपियों के बैंक खाते को सीज कर दिया गया है. आगे की जांच के लिए कई टीमों को लगाया गया है.

डीसीपी ने कहा कि लोगों को अब अतिरिक्त सावधान रहने की जरूरत है. (Kanpur News) क्योंकि साइबर ठग अब ई-सिम से जुड़ी जानकारियों के जरिए भी धोखाधड़ी कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि किसी भी व्यक्ति को अनजान कॉल या लिंक पर अपनी निजी जानकारी, ओटीपी या सिम से संबंधित जानकारी नहीं देनी चाहिए. (Kanpur News) डीसीपी ने बताया कि आजकल साइबर अपराधी नए-नए तरीके अपना रहे हैं. ऐसे में जागरूकता ही सबसे बड़ा बचाव है.

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Kanpur News: सिम और ई-सिम का चक्कर क्या है?

ई-सिम सामान्य सिम कार्ड से अलग होता है. दरअसल, ये कोई भौतिक सिम कार्ड नहीं होता. ये एक वर्चुअल सिम होता है. यानी कि मोबाइल में कोई कार्ड लगाने की जरूरत नहीं पड़ती. बस मोबाइल के सेटिंग्स के जरिए सिम ऑपरेटर से कनेक्ट करना होता है और सिम चालू हो जाता है. वैसे तो ये प्रोसेस जटिल होता है. सिम को ई-सिम कार्ड में बदलने के लिए क्यूआर कोड या OTP और अन्य जानकारियों की जरूरत पड़ती हैं, लेकिन किसी तरह साइबर अपराधी इसका तोड़ निकाल लेते हैं. और एक बार जब किसी के ई-सिम का एक्सेस, साइबर ठगों तक पहुंच जाता है, तो उस नंबर पर भेजे गए सारे मैसेज और कॉल सीधे अपराधियों तक पहुंचते हैं.

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पैसे बचाने हैं तो तुरंत शिकायत दर्ज कराएं

ठगी या इस तरह से सिम के ई-सिम बदले जाने की आशंका होते ही, सबसे पहले मोबाइल ऑपरेटर से संपर्क कर सिम कार्ड को ब्लॉक कराना चाहिए. और इसके तुरंत बाद पुलिस में शिकायत दर्ज करानी चाहिए. (Kanpur News) बैंक से संपर्क कर ट्रांजैक्शन को भी रोक देना चाहिए. पुलिस से शिकायत करने या बैंक से संपर्क करने में देरी का मतलब है कि ठग आसानी से बच सकते हैं. साइबर अपराधी बैंक ट्रांजैक्शन के फुटप्रिंट से बचने के लिए पैसों को पहले कई खातों में घुमाते हैं. इसलिए जितनी जल्दी शिकायत की जाएगी, पैसों की रिकवरी की संभावना भी उतनी ज्यादा होगी.

 

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